वस्तु एवं सेवाकर यानी जीएसटी व्यवस्था के तहत सोने और गहनों की खरीदारी कुछ महंगी हो जाएगी. वहीं 1,000 रुपये तक की कीमत वाले परिधान सस्ते होंगे. जीएसटी परिषद के अध्यक्ष जेटली ने परिषद की 15वीं बैठक के बाद कहा, 'सोने पर इस समय 1 फीसदी उत्पाद शुल्क और राज्यों द्वारा 1 फीसदी वैट लगाया जाता है. इन दरों को ध्यान में रखते हुए परिषद ने काफी विचार-विमर्श के बाद सोना और स्वर्ण आभूषणों पर सर्वसम्मति से 3 फीसदी टैक्स लगाने का फैसला किया है.'
जीएसटी परिषद की शनिवार को हुई 15वीं बैठक में बिना तराशे हीरों पर 0.25 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगाने का भी फैसला किया गया. कृषि उपकरणों के लिए 5 और 12 प्रतिशत की दो दरें रखीं गई.
परिषद में लिए गए फैसले के मुताबिक सभी तरह के बिस्कुट पर 18 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगेगा. इसी प्रकार 500 रुपये तक कीमत वाले फुटवियर पर 5 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगेगा. इससे अधिक मूल्य वाले चप्पल-जूते पर 18 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगाया जाएगा. जेटली ने कहा कि फुटवियर और कपड़े के मामले में काफी बड़ी राहत दी गई है.
कपड़े की श्रेणी में रेशमी और पटसन फाइबर को जीएसटी से मुक्त रखा गया है, जबकि कपास और प्राकृतिक रेशे और सभी तरह के धागे पर पांच प्रतिशत की दर से जीएसटी लगाया जाएगा. मानव-निर्मित फाइबर और धागा हालांकि 18 प्रतिशत जीएसटी की श्रेणी में आएगा.
सभी तरह के कपड़े पर पांच प्रतिशत की दर से जीएसटी लगेगा, जबकि 1,000 रुपये तक के परिधानों पर 5 प्रतिशत की निम्न दर से जीएसटी लागू होगा. वर्तमान में इस पर 7 प्रतिशत की दर से कर लगता है. एक हजार रुपये से अधिक मूल्य के कपड़ों पर 12 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगेगा. उन्होंने कहा कि परिषद की अगली बैठक 11 जून को होगी, जिसमें एक जुलाई से जीएसटी लागू करने की तैयारियों की समीक्षा की जाएगी.