धारावी रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट के तहत रिहैबिलिटेशन के लिए जल्द ही मास्टर प्लान पेश किया जाएगा: प्रोजेक्ट डायरेक्टर

धारावी रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट में टाउन प्लानिंग की डिप्टी डायरेक्टर पल्लवी परांजपे के मुताबिक, सभी मुद्दों को एड्रेस करने के लिए मास्टर प्लान तैयार किया जा रहा है.

Dharavi (Source: Vijay Sartape)

धारावी रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट की स्लम रिहैबिलिटेशन अथॉरिटी जल्द ही मास्टर प्लान पेश करेगी. इस प्लान के लिए पहला ड्राफ्ट पहले ही बनाया जा चुका है.

धारावी रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट में टाउन प्लानिंग की डिप्टी डायरेक्टर पल्लवी परांजपे ने NDTV Profit के साथ एक एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में मास्टर प्लान से जुड़ी जानकारी दी है.

दरअसल वे धारावी रीडेवलपमेंट प्लान की तरफ से स्किल डेवलपमेंट कोर्सेज में धारावी के छात्रों के ग्रेजुएट होने के मौके पर आयोजित कन्वोकेशन सेरेमनी में पहुंची थीं, जहां उनका NDTV Profit ने इंटरव्यू किया.

मास्टर प्लान का पहला कट तैयार

परांजपे के मुताबिक, सभी मुद्दों के समाधान के साथ मास्टर प्लान तैयार किया जा रहा है. पहला कट पहले ही तैयार हो चुका है और फिलहाल मास्टर प्लान का रीफाइनमेंट चल रहा है.

स्किल डेवलपमेंट कोर्स के तहत इलेक्ट्रॉनिक्स, रिपेयरिंग, ब्यूटी और रिटेल जैसे सेगमेंट में ट्रेनिंग दी जा रही है. छात्रों को जूडियो जैसे बड़े रिटेल खिलाड़ियों की तरफ से रोजगार के मौके भी मिलेंगे.

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प्रोजेक्ट का काम जल्द शुरू होगा

परांजपे ने कहा कि धारावी रीडेवलपमेंट का काम 6 महीने में शुरू होने की संभावना है. मुफ्त और किराये के घर के लिए पात्र और अपात्र निवासियों की सही संख्या इकट्ठी करने के लिए सर्वे भी जारी है.

परांजपे ने कहा, 'हां, कंस्ट्रक्शन जल्द शुरू होने की संभावना है. फिलहाल सर्वे चल रहा है. करीब 11,000 घरों को कवर किया जा चुका है. रिहैबिलिटेशन अथॉरिटी को फरवरी-मार्च तक सर्वे के खत्म होने का अनुमान है.'

कैबिनेट ने हाल ही में मुंबई के कांजुरमार्ग, वकोला और मुलुंड उपनगरों में 256 एकड़ साल्ट पैन भूमि के ट्रांसफर को मंजूरी दी है. अधिग्रहित भूमि का उपयोग धारावी में अपात्र झुग्गी निवासियों के रिहैबिलिटेशन के लिए किया जाएगा.

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परांजपे ने कहा, 'सर्वे से लोगों की वास्तविक संख्या का पता चलेगा कि कितने अयोग्य लोग होंगे. अभी, नंबर्स केवल अनुमान हैं. सही संख्या सामने आने के बाद हम ये जानने की बेहतर स्थिति में होंगे कि हमें कितनी अतिरिक्त भूमि की जरूरत है.'

धारावी झुग्गी निवासियों के लिए ट्रांजिट एकोमोडेशन नई जरूरत है. लेकिन हम प्रयास कर रहे हैं कि ट्रांसिट एकोमोडेशन की आवश्यकता न हो, यही कारण है कि अतिरिक्त भूमि खरीदी जा रही है. इसलिए प्रयास ये है कि सभी अपने घरों में शिफ्ट हो जाएं और ट्रांजिट की आवश्यकता का कोई सवाल ही न हो. इसलिए अयोग्य निवासियों के रिहैबिलिटेशन से संबंधित अन्य योजनाएं भी प्रक्रिया में हैं.
पल्लवी परांजपे

हालांकि, परांजपे से ये पूछे जाने पर कि क्या अगले चुनाव में सरकार में अगर बदलाव होता है, तो क्या एशिया की सबसे बड़ी झुग्गी के रीडेवलपमेंट की प्रक्रिया को प्रभावित कर सकता है, तो उन्होंने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया.