महाराष्ट्र सरकार करेगी केंद्र से रीडेवलपमेंट के लिए सॉल्ट पैन जमीन का करार; 256 एकड़ जमीन को डेवलप करेगी DRPPL

जमीन के उपयोग में अफॉर्डेबल हाउसिंग और ऐसी ही अन्य स्कीम्स के लाभार्थियों को भी कवर किया जाएगा. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में प्रदेश सरकार ने इस फैसले को मंजूरी दी है.

प्रतीकात्मक फोटो

महाराष्ट्र कैबिनेट ने सोमवार को मुंबई में स्लम रिहैबिलिटेशन प्रोजेक्ट से प्रभावित लोगों के लिए 255 एकड़ सॉल्ट पैन भूमि के उपयोग के प्रस्ताव को मंजूरी दी. इस जमीन के डेवलपमेंट की जिम्मेदारी अदाणी ग्रुप के 'धारावी रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट (DRPPL)' को मिली है. राज्य सरकार, केंद्र से इस जमीन को लीज पर ट्रांसफर करने के लिए करार करेगी.

PTI के मुताबिक इस जमीन के उपयोग में अफॉर्डेबल हाउसिंग और ऐसी ही स्कीम्स के लाभार्थियों को भी कवर किया जाएगा. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में इसका फैसला किया गया.

किन इलाकों में मिलेगी जमीन?

जिस 255.9 एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा, उसमें से 120.5 एकड़ मौजा कांजुर, 76.9 एकड़ कांजुर और भांडुप में है. जबकि 58.5 एकड़ जमीन मौजा मुलुंड में होगी.

सरकार के मुताबिक, स्टेट हाउसिंग डिपार्टमेंट के एडीशनल चीफ सेक्रेटरी, केंद्र सरकार के साथ लीज ट्रांसफर के लिए एक एग्रीमेंट करेंगे.

सॉल्ट पैन भूमि पर लोगों के पुनर्वास का खर्च एक 'स्पेशल पर्पज व्हीकल (SPV') द्वारा वहन किया जाएगा.

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धारावी में दुनिया का सबसे बडा रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट

बता दें धारावी दुनिया के सबसे बड़े स्लम एरिया में से एक है. अदाणी ग्रुप की अगुवाई में चलाया जा रहा पुनर्विकास कार्यक्रम दुनिया का सबसे बड़ा रीडेवलपमेंट प्रोजेक्ट है.

इससे करीब 10 लाख लोगों को सम्मान के साथ जीने का मौका मिलेगा. रीडेवलपमेंट के जरिए ना केवल इन्हें, बल्कि इनकी आने वाली पीढ़ियों के लिए बेहतर भविष्य सुनिश्चित हो पाएगा.

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