अंतरिम बजट पेश होने के बाद कई ब्रोकरेज ने सरकार के बजट की सराहना की है. ये मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का आखिरी बजट है, इसके बाद सरकार चुनाव में जाएगी, ब्रोकरेज का कहना है कि सरकार बेहद आत्मविश्वास के साथ चुनावों में कदम रखने जा रही है, ऐसा इस बजट में झलकता है. सरकार का फोकस फिस्कल कंसोलिडेशन, इंफ्रा पर खर्च को लेकर काफी सधा हुआ है.
जेफरीज का कहना है कि FY25 का बजट बाजार की उम्मीदों के मुकाबले ज्यादा वित्तीय रूप से सख्त, जो कि अच्छी बात है, अगले चुनावों को देखते हुए कोई सोशल स्कीम का ऐलान नहीं किया गया है. ये दर्शाता है कि सरकार के अंदर चुनावों को लेकर आत्मविश्वास है. जेफरीज का कहना है कि कैपिटल एक्सपेंडीचर में 17% की बढ़ोतरी हमारी उम्मीदों से ज्यादा है. ये साफ तौर पर सरकार की प्राथमिकताओं को उजागर करती है. ये रियल एस्टेट, ऑटो, सरकारी बैंकों और छोटे निजी बैंकों जैसे ब्याज दर के प्रति संवेदनशील संस्थाओं के लिए एक पॉजिटिव है.
FY25 के लिए बाजार का फिस्कल डेफिसिट का अनुमान GDP का 5.3% था
सरकार ने 5.1% का लक्ष्य रखा, जो कि बाजार के अनुमानों से उलट है
वित्त मंत्री ने ये भी बताया कि FY26 के लिए लक्ष्य 4.5% से भी कम है
17% YoY की कैपेक्स ग्रोथ मजबूत है, ये अनुमान से ज्यादा और पॉजिटव है
FY25 के लिए नॉमिनल GDP ग्रोथ 10.5% थोड़ा कंजर्वेटिव है
बॉन्ड यील्ड के गिरने, रेट कट की संभावना से रेट सेंसटिव को फायदा होगा
PSU बैंक, NBFCs और रियल एस्टेट डेवलपर्स को फायदा पहुंचेगा
बजट में मिडल क्लास के लिए हाउसिंग स्कीम का ऐलान पॉजिटिव है
इससे अफोर्डेबल हाउसिंग फाइनेंस कंपनियों को फायदा पहुंचेगा
सिटी ने बजट पर अपनी रिपोर्ट में कहा है कि सरकार की 14.13 लाख करोड़ रुपये की बाजार उधारी से थोक दरों में कमी आएगी. इसके अलावा PM आवास योजना का आवंटन 80,600 करोड़ रुपये किया गया है, इससे अफोर्डेबल हाउसिंग फाइनेंस कंपनियों को भी फायदा पहुंचेगा. 1 लाख करोड़ रुपये का फंड लॉन्ग टर्म फाइनेंसिंग के लिए रखा गया है, राज्यों को लंबी अवधि के लिए ब्याज मुक्त कर्ज दिया जाएगा ताकि वो टूरिज्म के विकास पर खर्च कर पाएं. सरकार ने बजट में इंफ्रा कैपेक्स पर बहुत जोर दिया है
बैंकिंग सिस्टम में लिक्विडिटी पर दबाव अगले दो महीने में कम होगा
बजट के ऐलान PSU बैंक, सीमेंट, ऑटो, कंज्यूमर के लिए अच्छे
बजट के ऐलान इंडस्ट्री और इंफ्रा सेक्टर के लिए पॉजिटिव है
14.13 लाख करोड़ रुपये की ग्रॉस मार्केट उधारी से थोक रेट में कमी आएगी
PMAY स्कीम को 80,600 करोड़ का आवंटन, AHFCs के लिए फायदेमंद
रिसर्च एंड रैंकिंग का कहना है कि अंतरिम बजट होने की वजह से कोई बड़ा पॉलिसी ऐलान नहीं हुआ. ये बजट फिस्कल कंसोलिडेशन और मैक्रोइकोनॉमिक स्टेबिलिटी की दिशा में सही था.
कैपिटल एक्सेंडीचर में उम्मीद से कम बढ़ोतरी रही, जिससे फिस्कल कंसोलिडेशन को कम करने और प्राइवेट सेक्टर के लिए ज्यादा कर्ज मिलने में सुविधा होती.कैपेक्स में राज्यों की तरफ एक झुकाव देखा गया क्योंकि उन्हें इसका एक बड़ा हिस्सा मिला. रेलवे, एनर्जी, हाउसिंग और हेल्थकेयर को लेकर ज्यादातर ऐलान थे.
FY25 के लिए फिस्कल डेफिसिट का अनुमान 5.1% किया गया है
FY25 में 50,000 करोड़ रुपये के विनिवेश का अनुमान है
ई-बस को लेकर किया गया ऐलान ऑटो OEMs के लिए अच्छा
FAME सब्सिडी में 44% कटौती EV OEMs के लिए खराब
राज्यों को 1.3 लाख करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त लोन पॉजिटिव
केयरएज (CareEdge) ने सरकार के कैपेक्स बढ़ाने पर कहा है कि सरकार ने FY25 के लिए पूंजीगत व्यय को 11% बढ़ाकर 11.1 लाख करोड़ रुपये करके एक साहसिक कदम उठाया है. ये कदम साफ तौर पर लगातार आर्थिक विकास की आधारशिला के रूप में बुनियादी ढांचे के विकास को मजबूत करने के सरकार के संकल्प को दर्शाता है. भविष्य को ध्यान में रखते हुए 2024 का अंतरिम बजट उम्मीदों की ठोस नींव रखता है और एक भरोसेमंद और वित्तीय रूप से विवेकपूर्ण सरकार को दर्शाता है.
कैपेक्स बढ़ाकर 11.11 लाख करोड़ रुपये करना साहसिक कदम
बजट सरकार के आत्मविश्वास और वित्तीय विवेक को दर्शाता है
टियर-3, छोटे शहरों में हाउसिंग फॉर ऑल स्कीम पर जोर दिखा
R&D-इनोवेशन पर खर्च बढ़ने का फायदा EV कंपनियों को मिलेगा
2030 तक लॉजिस्टिक्स लागत घटाकर 8% लाने की दिशा में बड़ा कदम