केंद्रीय बैंक ने लगातार 9वीं बार ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांता दास ने बताया कि रेपो रेट को 6.5% पर बरकरार रखा गया है. यानी होम लोन, कार लोन समेत हर तरह के लोन की EMI न बढ़ेगी और न ही कम होगी.
रिजर्व बैंक की पॉलिसी ऐसे समय में आई है, जब दुनियाभर के बाजारों में घमासान मचा हुआ है. जापान ने चौथाई परसेंट दरें बढ़ा दी हैं, जबकि अमेरिकी फेड दरों को नीचे लाने की तैयारी में जुटा है. इन ग्लोबल घटनाओं के बाद रिजर्व बैंक की पॉलिसी में लिए गए फैसलों का असर मार्केट पर भी दिखा.
RBI गवर्नर शक्तिकांता दास, डिप्टी गवर्नर माइकल पात्रा और अन्य सदस्यों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में मीडिया के सवालों के जवाब भी दिए. अमेरिका में संभावित मंदी को लेकर बन रहे माहौल से जुड़े सवाल पर RBI गवर्नर ने कहा, 'अभी इस पर कुछ भी कहना जल्दबाजी होगी.'
RBI Policy पर यहां जानिए पूरी अपडेट.
F&O ट्रेडिंग और इक्विटी निवेश पर RBI गवर्नर ने कहा,
RBI के अर्ली वॉर्निंग ग्रुप ने F&O ट्रेड्स के बारे में SEBI से बात की है
लोगों को ये सलाह नहीं दे रहे कि इक्विटी की जगह डिपॉजिट में ज्यादा पैसे डालें
निवेशकों को अपने निवेश के फैसले खुद लेने चाहिए.
RBI के डिप्टी गवर्नर माइकल पात्रा ने कहा,
न्यूट्रल रेट, इकोनॉमी के बेहतर परफॉर्मेंस को दिखाता है.
मौजूदा पॉलिसी न्यूट्रल रेट्स पर आधारित है.
RBI गवर्नर ने कहा, 'अमेरिका में 1 महीने के बेरोजगारी के आंकड़े से स्लोडाउन और रेट कट का अंदाजा नहीं लगाना चाहिए. अभी अमेरिका में मंदी के बारे में कहना जल्दबाजी होगी.'
प्रेस कॉन्फ्रेंस में RBI गवर्नर ने कहा,
घरेलू इकोनॉमिक ग्रोथ मजबूत, महंगाई में भी काफी गिरावट आई है
फाइनेंशियल सेक्टर स्थिर, बैलेंसशीट मजबूत है
फॉरेक्स रिजर्व ऐतिहासिक स्तरों पर पहुंचे
RBI गवर्नर ने गोल्ड लोन और होम लोन पर टॉप-अप लोन देने वाले बैंक और NBFCs पर बड़ा ऐलान किया. उन्होंने कहा,
कुछ बैंक-NBFCs लोन और कोलैटरल वैल्यू के मामले में रेगुलेटरी नियमों को फॉलो नहीं कर रहे हैं
इस तरह के टॉप-अप्स से मिले फंड का इस्तेमाल अनप्रोडक्टिव और सट्टेबाजी के कामों में हो सकता है
बैंकों को इसका रिव्यू करना चाहिए और जरूरी कदम उठाने चाहिए