वित्त मंत्री अरुण जेटली ने सरकारी बैंकों का पूंजी-आधार और मजबूत करने के लिए उन्हें और धन मुहैया कराने की सरकार की प्रतिबद्धता जताई है। जेटली ने आज (सोमवार) कहा कि पिछले वित्त वर्ष में इन बैंकों को जो 18,000 करोड़ रुपए का संचयी नुकसान हुआ वह मुख्य तौर पर वसूल न किए जा सकने वाले ऋण (एनपीए) के लिए ऊंचे पूंजी प्रावधान के कारण है।
वित्त मंत्री ने कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों ने वस्तुत: 2015-16 में 1.40 लाख करोड़ रुपए का परिचालन लाभ हुआ। उनका कथन इस बात का संकेत माना जा रहा है कि सरकार सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के प्रदर्शन को उतना बुरा नहीं मानती जितना बुरा उसे पेश किया जा रहा है।
जेटली ने यहां बैंकिंग क्षेत्र के प्रदर्शन की उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के पुनर्पूंजीकरण के लिए इस वित्त वर्ष 25,000 करोड़ रुपए की व्यवस्था की है। जरूरत पड़ने पर उन्हें और धन मुहैया कराया जा सकता है।