भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने कहा है कि भेदिया कारोबार पर विशेषज्ञ समिति की रिपोर्ट अगले 7 से 10 दिन में आ जाएगी।
सेबी के चेयरमैन यूके सिन्हा ने गुरुवार को कहा, 'भेदिया कारोबार नियमों पर समिति द्वारा जल्द से जल्द अगले सप्ताह के शुरू में रिपोर्ट देने की उम्मीद है। उन्होंने इसे लगभग अंतिम रूप दे दिया है। मुझे बताया गया है कि वे एक सप्ताह या अधिकतम 10 दिन में रिपोर्ट दे देंगे।'
कॉरपोरेट बांड बाजार पर क्रिसिल की एक संगोष्ठी के मौके पर सिन्हा ने संवाददाताओं से कहा, 'इस रिपोर्ट को सार्वजनिक टिप्पणी के लिए जारी किया जाएगा और उसके बाद सेबी का निदेशक मंडल इस पर विचार करेगा।'
पूंजी बाजार नियामक ने भेदिया कारोबार के नियमन संबंधी नए कदम सुझाने के लिए इस साल मार्च में सैट के पीठासीन अधिकारी की अध्यक्षता में विशेषज्ञों की समिति का गठन किया था, जिससे पूंजी बाजार में भेदिया कारोबार की बढ़ती गतिविधियों पर अंकुश लगाया जा सके।
सिन्हा ने भारतीय कॉरपोरेट ऋण बाजार पर क्रिसिल इयरबुक भी जारी की। इस मौके पर आर्थिक मामलों के सचिव अरविंद मायाराम भी मौजूद थे। नए भेदिया कारोबार मानदंड दो दशक पुराने कानून की जगह लेगा।
मायाराम ने इस मौके पर खुदरा निवेशकों में बाजार के प्रति भरोसा कायम करने पर जोर दिया। उन्होंने अमेरिकी बाजारों में खुदरा निवेशकों की गहरी पहुंच का उल्लेख किया, जहां 2008 के ऋण संकट के दौरान लाखों लोगों को अपनी मेहनत की कमाई गंवानी पड़ी थी।
इसके बावजूद ये निवेशक अमेरिकी बाजार में बने रहे, क्योंकि वहां का नियामकीय ढांचा निवेशकों का भरोसा कायम करने वाला है। सोढ़ी कर्नाटक उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त मुख्य न्यायाधीश भी रह चुके हैं। समिति के सदस्यों में सेबी अधिकारी, कंपनियों के कार्यकारी, कानूनी विशेषज्ञ और पत्रकार शामिल हैं।
करीब दो दशक पहले बने भेदिया कारोबार नियमों में इस दौरान कई संशोधन हुए हैं। समिति का गठन करते हुए सेबी ने कहा था कि दुनियाभर में नियामकों का ध्यान अब प्रभावी तरीके से भेदिया कारोबार को रोकने पर लगा है।