बीते 2 साल में एयर इंडिया में बड़े बदलाव की प्रक्रिया तेज हुई है. जबकि वैश्विक स्तर पर इस तरह के बदलाव में 5 से 8 साल लगते हैं. ये बात एयरलाइन के चीफ एग्जीक्यूटिव ऑफिसर और मैनेजिंग डायरेक्टर कैंपबेल विल्सन ने NDTV के साथ एक एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में कहीं.
टाटा ग्रुप ने एयर इंडिया को 2022 में खरीदा था. इस तरह टाटा के पास विस्तारा और एयर एशिया के साथ ये अतिरिक्त एयरलाइन हो गई थी. विल्सन ने कहा, 'हमने कभी ये नहीं छुपाया कि एयर इंडिया बदलाव के लिए कई सालों के प्रोग्राम से गुजर रही है. हमने 5 साल कहा था. द इकोनॉमिस्ट ने इसे 'कॉरपोरेट टर्नअराउंड्स का एवरेस्ट ' कुछ वजह से ही कहा था.'
विल्सन ने कहा, 'बीते 2 साल में बहुत सारी चीजें हुईं. निश्चित तौर पर ये अंतिम प्रोडक्ट नहीं है. मैं जानता हूं कि हमसे बहुत उम्मीदे हैं, बल्कि एयर इंडिया के विलय को पूरा होने से जुड़े भविष्य पर बहुत बेसब्री है.'
वहीं एयरलाइन स्टाफ में बदलाव पर विल्सन ने कहा कि 9,000 नए कर्मचारियों को शामिल किया गया है. इस तरह स्टाफ की औसत उम्र 54 साल से कम होकर 35 पर आ गई है.
विल्सन ने कहा, 'हमने चार एयरलाइंस, 140 IT सिस्टम, 100 नए एयरक्राफ्ट, नई ट्रेनिंग अकादमी का अधिग्रहण किया और एक बेस मेंटेनेंस फैसिलिटी की शुरुआत की है. इसके लिए ना सिर्फ हम अपनी टीम के शुक्रगुजार हैं, बल्कि DGCA और सिविल एविएशन मिनिस्ट्री समेत भारत के एविएशन इकोसिस्टम का भी इसे संभव बनाने में बड़ा योगदान है. इस तरह के बदलाव को करने में दूसरे देशों में 5 से 8 साल लग जाते.'
इस महीने की शुरुआत में विस्तारा का एयर इंडिया में मर्जर हुआ है, विल्सन के मुताबिक इससे एयर इंडिया की ग्रोथ में तेजी आएगी. विलय के बाद बनी एयरलाइन विस्तारा और एयर इंडिया की सबसे बेहतर चीजों का प्रतिनिधित्व करेगी. हालांकि विस्तारा अपने आप में बहुत मजबूत ब्रैंड था, लेकिन विलय जरूरी था, क्योंकि टाटा ग्रुप पहले ही सभी एयरलाइंस को एक ही एंटिटी के अंतर्गत लाने की योजना बना चुका था.
विल्सन ने कहा, 'हालांकि मर्जर के बाद भी एयरलाइन विस्तारा के एयरक्राफ्ट्स को विस्तारा के क्रू के साथ ही ऑपरेट कर रही है. ताकि यात्रियों का वही अनुभव रहे, जिसकी वे उम्मीद करते हैं.' वहीं विलय के दौरान स्टाफ नीतियों पर विस्तारा पायलट्स और क्रू के एक वर्ग ने जो चिंताएं जताई हैं, उन पर विल्सन ने कहा 'अगर चीजों को एकतरफा देखा जाएगा, तो कुछ लोग कह सकते हैं कि ये अच्छा है, ये बुरा है, लेकिन मैं मानता हूं कि समग्र तौर पर ये सभी लोगों की बेहतरी के लिए है.'
बता दें विस्तारा कर्मचारियों ने मार्च-अप्रैल में इस साल सामूहिक 'सिक लीव' लेना शुरू कर दिया था. इसे एयर इंडिया के साथ मर्जर के बाद उन्हें प्रस्तावित किए गए कॉन्ट्रैक्ट के विरोध के तौर पर देखा गया. दरअसल इस कॉन्ट्रैक्ट में उनके उड़ान के घंटों को 70 से घटाकर 40 कर दिया गया है. मतलब उन्हें कम पैसा मिलेगा. विमानों के आधुनिकीकरण की योजना के तहत 2022 में एयर इंडिया ने अपने रेट्रोफिट प्रोग्राम के लिए 400 मिलियन डॉलर का आवंटन किया था. लेकिन सप्लाई से जुड़ी चीजों में देरी के चलते इसे लागू करने में देर हो गई. CEO ने बताया कि बोइंग 787 एयरक्राफ्ट का रेट्रोफिट प्रोग्राम अप्रैल में चालू होने का अनुमान है. इन विमानों में से पहला सेट अक्टूबर 2025 में सेवा में वापस लौटेगा.