अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप के टैरिफ ऐलानों के बाद पूरी दुनिया कड़ी प्रतिक्रियाएं आना शुरू हो गईं हैं. चीन समेत कई देश अमेरिका को सबक सिखाने की चेतावनी दे रहे हैं, तो कुछ हालात को बेहतर करने के लिए बातचीत का रास्ता अपनाने का इशारा कर रहे हैं.
चीन ने ट्रंप के टैरिफ को लेकर जवाबी टैरिफ लगाने पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. चीन के वाणिज्य मंत्रालय के एक प्रवक्ता ने कहा कि वे ट्रंप के 438 बिलियन डॉलर से अधिक के चीनी इंपोर्ट पर 34% टैरिफ के खिलाफ "दृढ़ता से जवाबी कदम" उठाएंगे. ट्रंप के नए टैरिफ की वजह से चीन पर लगने वाला कुल टैरिफ 54% हो गया है, जो ट्रंप की ओर से अपने चुनाव अभियान के दौरान दी गई 60% की धमकी के करीब है. हालांकि चीन के अधिकारियों का तर्क है कि नए टैरिफ से अमेरिकी उपभोक्ताओं को ज्यादा नुकसान होगा, लेकिन नए टैरिफ से अमेरिका को होने वाले एक्सपोर्ट में भारी कमी आने की आशंका है, जिससे अमेरिका में उसके उद्योगों पर भारी असर पड़ेगा, जो पहले से ही चीनी अर्थव्यवस्था की मंदी के असर से जूझ रहे हैं.
जापान के प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा ने अमेरिकी टैरिफ के फैसलों पर गहरी चिंता जताई और कहा कि जापानी कंपनियों ने अमेरिकी अर्थव्यवस्था में बड़ी भूमिका निभाई है. अमेरिका में जापानी एक्सपोर्ट पर 24% जवाबी टैरिफ लगाने के कदम को "बहुत निराशाजनक" बताते हुए, उन्होंने कहा कि अमेरिकी नीतियां ग्लोबल ट्रेड पर गहरा असर डालेंगी. इशिबा ने जरूरत पड़ने पर राष्ट्रपति ट्रंप के साथ सीधी बातचीत करने की इच्छा पर जोर दिया.
ट्रंप ने यूरोपीय संघ पर 20% रेसिप्रोकल टैरिफ लगाया है. यूरोपियन यूनियन का कहना है कि वो पहले बातचीत के जरिए रास्ता तलाशने की कोशिश करेगा. यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन ने कहा कि 27 देशों का समूह अमेरिका के साथ व्यापार वार्ता विफल होने पर जवाबी उपाय तलाशेगा. उन्होंने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, "स्टील पर पहले टैरिफ के जवाब में यूरोप पहले से ही अपने उपायों के पहले पैकेज को अंतिम रूप दे रहा है और वार्ता विफल होने पर आगे के जवाबी उपाय तैयार कर रहा है. अधिकारियों ने ट्रंप के टैरिफ का उपभोक्ताओं और व्यवसायों पर पड़ने वाले प्रभाव पर भी जोर दिया, जो आमतौर पर ऐसे उपायों के लागू होने के बाद चीजों के लिए ज्यादा भुगतान करते हैं.
इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी ने यूरोपीय यूनियन पर टैरिफ को "गलत" बताया और कहा कि ये टैरिफ "किसी भी पक्ष के लिए ठीक नहीं होंगे,लेकिन उन्होंने अमेरिका के साथ मिलकर "ट्रेड वॉर" को रोकने के लिए काम करने की इच्छा जताई.
ब्रिटिश प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर ने चेतावनी दी कि ट्रेड वॉर किसी के हित में नहीं है. संसद को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि UK सभी संभावित रास्तों के लिए तैयार है और किसी भी चीज को नकारेगा नहीं.'
ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज ने भी टैरिफ की निंदा की और इसे "अनुचित" बताया, साथ ही चेतावनी दी कि अमेरिकी नागरिकों को सबसे ज्यादा नुकसान होगा. हालांकि, उन्होंने ये बात भी साफ की कि उनकी सरकार अमेरिका पर जवाबी टैरिफ नहीं लगाएगी. उन्होंने कहा, "हम ऊंची कीमतों और धीमी ग्रोथ की ओर ले जाने वाली दौड़ में शामिल नहीं होंगे.' उन्होंने कहा कि ये किसी मित्र का काम नहीं है. आज के फैसले से वैश्विक अर्थव्यवस्था में अनिश्चितता बढ़ेगी और अमेरिकी परिवारों के लिए लागत बढ़ेगी.
दक्षिण कोरिया के वित्त मंत्री चोई सांग-मोक ने देश की अर्थव्यवस्था पर अमेरिकी टैरिफ के आर्थिक प्रभाव को कम करने का दावा किया. उन्होंने कहा कि इसे हासिल करने के लिए, सरकार वित्तीय बाजारों को स्थिर करने के लिए त्वरित और साहसिक कदम उठाएगी. ट्रंप ने कोरियाई इंपोर्ट पर 25% रेसिप्रोकल टैरिफ लगाया है.