How to Prepare For Emergency Time: देशों के बीच बढ़ते टेंशन में आम आदमी के घर का बजट बिगड़ जाता है. ये बात हमने भारत और पाकिस्तान के बीच हुए तनाव में देख ली है. जिओ-पॉलिटिक्स में बदलाव, देशों के बीच टेंशन अनिश्चितता का माहौल बनाते हैं. इससे सप्लाई में कमी आती है जिससे चीजों की कीमतें बढ़ती हैं. यानी आम आदमी को महंगाई का सामना करना होता है.
ऐसे समय में एक शानदार फाइनेंशियल प्लानिंग करनी जरूरी होती है. इस आर्टिकल में बताते हैं कि जंग के समय में आपको किन बातों को ध्यान में रखकर अपना बजट बनाना चाहिए.
अनिश्चितता वाले समय के लिए इमरजेंसी फंड होना जरूरी है. कम से कम 3 से 6 महीने के खर्चों के लिए सेविंग करें. इस अमाउंट का इस्तेमाल ग्रोसरी, घर का किराया, राशन, बिजली के बिल में कर सकते हैं.
ऐसे समय में अगर आपको पास जरूरी सामानों का स्टॉक मौजूद हो, तो समस्या काफी हद तक कम हो जाती है. जरूरी चीजों के लिए परेशान नहीं होना पड़ता है. स्टॉक बनाते समय एक बात ध्यान में रखें कि सिर्फ अफवाह या डर की वजह से कोई चीज स्टोर ना करें. क्योंकि इससे देश में महंगाई बढ़ने के पूरे आसार होते हैं.
वॉर के समय देश के अंदर महंगाई पैर पसारने लगती है. बढ़ती कीमतों का मतलब है कि आपके बजट में कुछ बदलाव करने की जरूरत है. इसलिए अपने खर्च पर बारीकी से नज़र रखें और इस समय में सिर्फ जरूरतों को पहले पूरा करें. जहां तक संभव हो पैसे बचा कर रखें.
ये बात ध्यान में रखें कि बढ़ती महंगाई, मिल रहे रिटर्न को कम कर देती है. इसलिए जब देश में चीजें महंगी हो रहीं हो तो अपने निवेश को सेक्टर के अनुरूप बदलें. जिससे हाई रिटर्न के साथ रिस्क कम रहे.
महंगाई बढ़ती है तो लिया हुआ हर कर्ज भी महंगा होता जाता है. अगर आपके पास कोई लोन है तो जल्द से जल्द उसे निपटवाएं. साथ ही जिसमें इंटरेस्ट ज्यादा है पहले उसे खत्म करें. जिसमें क्रेडिट कार्ड का बिल, पर्सनल लोन शामिल है.
अनिश्चित माहौल में, लाइफस्टाइल के अंदर बड़े बदलाव नहीं करना चाहिए. अगर अचानक महंगाई बढ़ जाती है तो नई कार खरीदना या बड़ी EMI चुकाने से बचना चाहिए.
वॉर जैसे माहौल में घबराहट, जल्दबाजी महंगाई को और बढ़ा सकती हैं. इसलिए किसी अफवाह या बातों में आकर कोई बड़ा फैसला लेने से बचें. जैसे शेयर मार्केट में लगातार बिकवाली करना. या फिर किसी चीज को फालतू में स्टोर कर लेना.