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Budget 2024: पहली जॉब वालों के लिए सैलरी स्‍कीम; किन्‍हें और कैसे मिलेगा फायदा, जॉब छोड़ दिया तो क्‍या होगा?

सवाल ये है कि इस स्‍कीम के दायरे में कौन लोग आएंगे, नियम और शर्तें क्‍या हैं और ये कैसे लागू होगा. सारी डिटेल इस रिपोर्ट में.
NDTV Profit हिंदीNDTV Profit डेस्क
NDTV Profit हिंदी05:40 PM IST, 25 Jul 2024NDTV Profit हिंदी
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देश में रोजगार को बढ़ावा देने के लिए EPFO यानी कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के माध्यम से केंद्रीय बजट में तीन योजनाएं शुरू की गईं हैं. इनमें से एक योजना है- पहली जॉब पाने वालों के खाते में 15,000 रुपये.

इस योजना के जरिए विभिन्न सेक्‍टर में पहली बार जॉब करने वाले कर्मियों को सरकार एक महीने की सैलरी (अधिकतम 15,000 रुपये) देगी. EPFO में पहली बार रजिस्टर करने वाले लोगों को 15 हजार रुपये की मदद 3 किस्‍तों में मिलेगी.

पहली नौकरी पाने वाले वे युवा, जिनकी सैलरी 1 लाख रुपये से कम होगी, उन्‍हें इस स्कीम का फायदा मिलेगा. इसके दायरे में करीब 2.1 लाख युवाओं के आने की उम्मीद है.

सवाल ये है कि इस स्‍कीम के दायरे में कौन लोग आएंगे, नियम और शर्तें क्‍या हैं और ये कैसे लागू होगा. आइए समझने की कोशिश करते हैं.

किन्‍हें मिलेगा योजना का लाभ?

  • ये नई योजना सभी फॉर्मल सेक्‍टर्स में वर्कफोर्स के तौर पर पहली बार शामिल होने वाले कर्मियों पर लागू होती है.

  • ऐसे कर्मी केवल तभी इस योजना का लाभ उठा सकते हैं, जब उनकी सैलरी एक लाख रुपये से कम होगी.

  • कर्मियों का पहली बार EPFO ​​में रजिस्‍टर होना जरूरी है. फायदा मिलता रहे, इसके लिए एक साल तक जॉब में बने रहना जरूरी होगा.

कैसे काम करेगी योजना?

  • सरकार की ओर से DBT यानी डायरेक्‍ट बेनिफिट ट्रांसफर के माध्यम से 3 किस्तों में 15,000 रुपये तक की सब्सिडी का भुगतान किया जाएगा.

  • 5,000 रुपये की पहली किस्त के बाद पात्रता, मैनडेटरी फाइनेंशियल लिटरेसी कोर्स पूरा करके निर्धारित की जाती है.

  • कर्मियों को दूसरी किस्‍त का दावा करने से पहले ये फाइनेंशियल लिटरेसी कोर्स पूरा करना होगा.

1 साल से पहले जॉब छोड़ दिया तो क्‍या होगा?

  • इस योजना के तहत यदि कोई कर्मी कंपनी में एक वर्ष पूरे नहीं करता है, यानी एक साालके भीतर ही जॉब छोड़ देता है तो उसे 15,000 रुपये वापस करने होंगे.

  • भर्ती के एक साल के भीतर सेवा समाप्ति के मामले में नियोक्ताओं की ओर से ये वापसी पूरी की जानी चाहिए.

बजट डॉक्‍युमेंट के लिए 23,000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है. इस स्‍कीम का उद्देश्‍य नियोक्‍ता कंपनियों को फ्रेशर्स की बहाली में सहायता करना भी है.

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