मंगलवार को बाजार में गिरावट के साथ स्मॉल और मिड कैप स्टॉक्स के कैपिटलाइजेशन में 4.26 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की गिरावट आई. आज के दिन ज्यादातर सूचकांक 4% तक गिर गए, ये 23 दिसंबर, 2022 के बाद से पिछले आठ महीनों में किसी दिन में आई सबसे बड़ी गिरावट है.
कोजेंसिस के आंकड़ों के मुताबिक, BSE स्मॉलकैप इंडेक्स में शामिल शेयरों के मार्केट कैप में 2.48 लाख करोड़ रुपये की गिरावट दर्ज की गई, जबकि BSE मिडकैप इंडेक्स में कुल 1.79 लाख करोड़ रुपये की गिरावट आई.
NSE के स्मॉलकैप 250 इंडेक्स में 1.34 लाख करोड़ रुपये की गिरावट देखी गई, जबकि मिडकैप 150 इंडेक्स में 1.76 लाख करोड़ रुपये की गिरावट आई.
कई ब्रोकरेज फर्मों द्वारा स्मॉलकैप शेयरों में रैली को लेकर चिंता जताई गई. कोटक इंस्टीट्यूशनल सिक्योरिटीज ने मिडकैप शेयरों पर दी गई सलाह वापस ली और मिडकैप शेयरों में आई इस बेतहाशा तेजी को 'तर्कहीन' बताया .
वित्त वर्ष की शुरुआत में तेजी का रुझान शुरू हुआ था ,जिसमें NSE निफ्टी 50 इस अवधि में 15.7% तक बढ़ गया, जबकि स्मॉलकैप 250 और मिडकैप 150 में 36.6% और 32.5% की वृद्धि हुई.
इंडेक्स में शामिल अन्य शेयरों के मुकाबले रेल विकास निगम लिमिटेड, सोमवार के मुकाबले 15% गिरकर दिन के लिए सबसे अधिक नुकसान में रहा. 23 मार्च, 2020 के बाद से 42 महीनों में स्टॉक में एक दिन में सबसे अधिक गिरावट आई है.
महिंद्रा हॉलिडेज एंड रिसॉर्ट्स इंडिया लिमिटेड और कोचीन शिपयार्ड लिमिटेड में क्रमश: 14.5% और 14.2% से अधिक की गिरावट आई. अन्य शेयरों में जो गिरावट दर्ज की गई, उनमें BEML लिमिटेड शामिल है, जिसमें 12.1% की गिरावट आई, मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड में 11.8% की गिरावट आई और इंडियाबुल्स रियल एस्टेट लिमिटेड 11.6% गिर गया.