आदिवासी लोगों के लिए ‘पढ़ाई, कमाई और दवाई’ को अपनी सरकार की शीर्ष प्राथमिकता बताते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को कहा कि उनकी सरकार ने इस समुदाय के कल्याण के लिए अलग मंत्रालय बनाया और बजट 25,000 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 1.25 लाख करोड़ रुपये किया.
बिहार के जमुई में प्रधानमंत्री मोदी ने आदिवासी नायक बिरसा मुंडा की जयंती के अवसर पर 6,640 करोड़ रुपये की लागत वाली कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया.
प्रधानमंत्री मोदी ने बिरसा मुंडा की जयंती पर मनाए जाने वाले जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर बिरसा मुंडा के सम्मान में एक स्मारक सिक्के और डाक टिकट का अनावरण किया.
प्रधानमंत्री ने कहा, 'आदिवासी समुदाय को पहले न्याय नहीं मिलता था. हमारी सरकार ने उन्हें उनका अधिकार देकर न्याय सुनिश्चित किया.' उन्होंने पिछले एक दशक से ज्यादा समय में उनके कार्यकाल में आदिवासियों के हित में किए गए कार्य भी गिनाए.
उन्होंने कांग्रेस पर तंज कसते हुए कहा कि अगर देश को आजादी एक परिवार की वजह से मिली तो बिरसा मुंडा ने ‘उलगुलान’ आंदोलन क्यों शुरू किया था?
उन्होंने कहा ‘अनेक आदिवासी नेताओं ने स्वतंत्रता संघर्ष में अहम भूमिका निभाई थी.’ PM मोदी ने आरोप लगाया कि पिछली सरकारों ने कभी आदिवासी लोगों के कल्याण के लिए काम नहीं किया.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमारी शीर्ष प्राथमिकता आदिवासी लोगों के लिए ‘पढ़ाई, कमाई और दवाई’ है. उन्होंने कहा, ‘हमने आदिवासी कल्याण के लिए अलग मंत्रालय बनाया. बजट 25,000 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 1.25 लाख करोड़ रुपये किया. हमने अनेक प्रावधानों को सरल बनाया, आदिवासियों के फायदे के लिए 90 वन उत्पादों का न्यूनतम साझा मूल्य (MSP) तय किया.’
मोदी ने कहा कि जनजातीय लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए सरकार द्वारा कई कदम उठाए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि आदिवासी लोग खेलों में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं तथा सरकार उनके लिए अनेक खेल सुविधाएं शुरू कर रही है. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘हमें एकजुट होकर आदिवासियों की सांस्कृतिक विरासत बचानी होगी.’
रैली के दौरान मंच पर उनके साथ LJP (रामविलास) सांसद चिराग पासवान, बिहार के डिप्टी CM सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा के अलावा NDA गठबंधन के कई नेता मंच पर रहे.