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ह्यूमन रिसोर्स फर्म रेवेलियो लैब्स (Revelio Labs) के मुताबिक, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) से पूरी दुनिया में पुरुषों के मुकाबले, महिलाओं की नौकरियों पर ज्यादा खतरा है.
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रेवेलियो लैब्स (Revelio Labs) ने अमेरिका के नेशनल ब्यूरो ऑफ इकोनॉमिक रिसर्च की स्टडी के आधार पर उन नौकरियों की पहचान की है, जिनकी AI से रिप्लेस होने की सबसे ज्यादा संभावना है.
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स्टडी में जिन नौकरियों की पहचान की गई उनमें से ज्यादातर नौकरियां महिलाएं ही करती हैं. इसमें अकाउंट कलेक्टर, पेरोल क्लर्क, टाइपिस्ट, ट्रांसलेटर्स ,टेलीमार्केटर्स और एग्जीक्यूटिव सेक्रेटरीज की जॉब शामिल हैं.
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रेवेलियो लैब्स के इकोनॉमिस्ट Hakki Ozdenoren ने कहा कि वर्कप्लेस पर जेंडर डिस्ट्रीब्यूशन बताता है कि किस प्रकार से हमारे समाज में पूर्वाग्रह है. महिलाओं को एडमिनिस्ट्रेटिव असिस्टेंट्स और सेक्रेटरीज जैसे रोल तक ही सीमित रखा जाता है.
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AI की तरक्की ग्लोबल वर्कफोर्स में लैंगिक असमानता को बढ़ा रही है, जहां कंपनियां कर्मचारियों की छंटनी और वर्कफ्लो में जेनरेटिव AI का लाभ उठाने पर विचार कर रही हैं.
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रेवेलियो लैब्स की शुरूआती स्टडी से ये भी पता चलता है कि जेनरेटिव AI गैर-पारंपरिक मैन्युफैक्चरिंग जॉब्स की तुलना में ज्यादा तनख्वाह वाले कामों को अधिक प्रभावित कर सकता है.
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