कोलंबो पोर्ट में वेस्ट कंटेनर टर्मिनल के 2025 में पहली तिमाही से ऑपरेशंस शुरू कर करने की उम्मीद है. अदाणी-JKH टर्मिनल नाम से पहचाने जाने वाले इस टर्मिनल को अदाणी पोर्ट्स और श्रीलंका की जॉन कील्स होल्डिंग PLC ने विकसित किया है. श्रीलंका के स्थानीय पब्लिकेशन द मॉर्निंग ने अपनी रिपोर्ट में ये जानकारी दी है.
रिपोर्ट के मुताबिक 6 नवंबर को एक इन्वेस्टर वेबिनार में JKH के चेयरपर्सन कृष्ण बालेंद्र ने कहा कि टर्मिनल का पहला चरण अगले साल की पहली तिमाही तक चालू हो जाएगा.
इस चरण में टर्मिनल कोलंबो पोर्ट की कुल क्षमता में 1.5 मिलियन TEU का इजाफा करेगा. फिलहाल पोर्ट की कुल क्षमता 8 मिलियन TEU की है. बालेंद्र ने बताया कि टर्मिनल में इस्तेमाल होने वाले यार्ड क्रेन और क्वे का पहला बैच सितंबर में आ गया था. 2024 की अंतिम तिमाही तक क्रेन लगाने का काम पूरा कर लिया जाएगा.
द मॉर्निंग के मुताबिक इन्वेस्टर्स के साथ शेयर की गई तिमाही रिपोर्ट में JKH ने कहा है कि टर्मिनल का बचा हुआ काम मध्य 2026 तक पूरा कर लिया जाएगा.
DFC ने दी थी 553 मिलियन डॉलर की फन्डिंग
पिछले साल नवंबर में अदाणी ग्रुप को अमेरिका की तरफ से कोलंबो वेस्ट इंटरनेशनल टर्मिनल के डेवलपमेंट के लिए 553 मिलियन डॉलर की फंडिंग मिली थी.
इस मौके पर अदाणी पोर्ट्स के MD करण अदाणी ने कहा था, 'ये पहली बार है जब US सरकार ने अपनी एजेंसी DFC के जरिए श्रीलंका में किसी पोर्ट से संबंधित निवेश या अदाणी ऑपरेटेड प्रोजेक्ट को फाइनेंस किया है. DFC किसी भी प्रोजेक्ट की फाइनेंसिंग तब करती है, जब इसे पहले अमेरिकी कांग्रेस मंजूरी देती है. इसलिए इस मंजूरी से अदाणी ग्रुप की फाइनेंशियल और एग्जीक्यूशन क्षमताओं में विश्वास का पता चलता है.'