IT शेयरों में बड़ी गिरावट से निवेशकों ने गंवाए 1 लाख करोड़ रुपये, Accenture के आउटलुक घटाने का असर

Accenture ने अगस्त 2024 में खत्म होने वाले वित्त वर्ष के लिए रेवेन्यू गाइडेंस को घटाया है. कंपनी ने FY24 के लिए ग्रोथ के अनुमान को 2–5% से घटाकर 1–3% कर दिया है.

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भारतीय IT कंपनियों (IT Sector) के शेयरों में शुक्रवार को गिरावट देखने को मिली है. इसके पीछे वजह है कि Accenture ने अगस्त 2024 में खत्म होने वाले वित्त वर्ष के लिए रेवेन्यू गाइडेंस को घटाया है. कंपनी ने FY24 के लिए ग्रोथ के अनुमान को 2–5% से घटाकर 1–3% कर दिया है. दिग्गज टेक कंपनी ने अपने ऑपरेटिंग मार्जिन के अनुमान को 14.8–15% के मुकाबले 14.8% कर दिया है.

Accenture की दूसरी तिमाही फ्लैट रही

कंपनी की दूसरी तिमाही फ्लैट रही है. हालांकि कंपनी की डील फरवरी 2024 में खत्म होने वाले तीन महीनों में दूसरा सबसे ज्यादा रही हैं. खराब आउटलुक के बाद निवेशकों ने भारी प्रतिक्रिया दी. निफ्टी IT शुरुआती कारोबार में 3.68% गिरा. ये 21 जुलाई 2023 के बाद सबसे बड़ी इंट्राडे गिरावट रही थी. निवेशकों ने दिन में करीब 1 लाख करोड़ रुपये की दौलत गंवाई.

HCL टेक्नोलॉजीज में सबसे ज्यादा 5% से ज्यादा की गिरावट देखी गई है. इसके बाद Mphasis में 4% से ज्यादा की गिरावट आई. वहीं Coforge लिमिटेड, LTI माइंडट्री और L&T टेक्नोलॉजी सर्विसेज 3.5% से ज्यादा गिरे.

क्लाइंट्स के बजट से पता चलता है कि पिछली तिमाही के दौरान टेक बजट को सख्त किया गया है. कंपनी के मैनेजमेंट ने कहा कि खासतौर पर छोटी डील्स पर बजट में कटौती की गई है. जेफरीज के मुताबिक ये IT सेक्टर के लिए सही नहीं है क्योंकि डिस्क्रिशनरी खर्च दबाव में है.

एक्सपर्ट्स ने क्या कहा?

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज में चीफ इन्वेस्टमेंट स्ट्रैटजिस्ट वीके विजयकुमार के मुताबिक Accenture से खराब गाइडेंस को देखते हुए IT सेक्टर दबाव में बना हुआ है. इंट्राडे में किसी भारी उछाल होने पर फॉरेन इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स से बिकवाली का सामना करना पड़ सकता है. क्योंकि US बॉन्ड यील्ड्स ज्यादा बने हुए हैं.

नोमूरा रिसर्च ने कहा कि भारतीय IT सेक्टर के लिए डिस्क्रिशनरी मांग अगले वित्त वर्ष की पहली तिमाही में रिकवरी होने की उम्मीद नहीं है. उन्होंने सतर्क रवैया बरकरार रखा है. जहां लार्ज कैप के लिए रेवेन्यू ग्रोथ में FY25 में सुधार होने की उम्मीद है.

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