मोदी 3.0 सरकार के पहला बजट पेश करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कई बड़ी घोषणाएं की, लेकिन कैपिटल गेन टैक्स के मोर्चे पर शेयर बाजार निवेशकों को बड़ा झटका लगा है.
बजट में कैपिटल गेन टैक्स के तहत लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG) को 2.50% बढ़ाकर 12% कर दिया गया है. वहीं, चुनिंदा असेट्स पर शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन टैक्स (STCG) बढ़ाकर 20% किया गया है. ये बदलाव 23 जुलाई यानी आज ही से लागू हो गए हैं.
इस बीच शेयर बाजार में भारी गिरावट देखी जा रही है. इसका अंदाजा पहले ही लगाया जा चुका था कि कैपिटल गेन टैक्स बढ़ा तो बाजार पर निगेटिव असर होगा.
अब तक क्या था स्ट्रक्चर?
शेयर बाजार की बात करें तो कैपिटल गेन टैक्स दो तरीके से लगता है. अगर किसी स्टॉक को 1 साल के भीतर बेचा गया तो उस पर हुए मुनाफे पर STCG यानी शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन टैक्स लगता है, जो निवेशकों के टैक्स स्लैब के आधार पर लगाया जाता है.
वहीं, स्टॉक को अगर 1 साल के बाद बेचा गया तो उस पर हुए मुनाफे पर LTCG यानी लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स लगता है. इसमें 1 लाख रुपये तक का मुनाफा टैक्स के दायरे से बाहर रहता है, जबकि इससे ज्यादा के मुनाफे पर 10% की दर से टैक्स देना होता है.
अब क्या हुए बदलाव?
बजट में हुई घोषणा के अनुसार, LTCG को 10% से बढ़ा कर 12.5% कर दिया गया है. यानी इसमें 2.5% बढ़ोतरी की गई है. हालांकि इसमें छूट की सीमा को 1 लाख से बढ़ा कर 1.25 लाख रुपये कर दिया गया है. साथ ही लॉन्ग टर्म, 1 साल की बजाय 2 साल के बाद माना जाएगा.
यानी 2 साल के बाद स्टॉक बेचने पर 1.25 लाख रुपये तक के मुनाफे पर टैक्स नहीं लगेगा. वहीं, STCG यानी शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन पर टैक्स रेट को 15% से बढ़ा कर 20% कर दिया गया है.
STCG को 15% से बढ़ा कर 20% किया गया
LTCG को 10% से बढ़ा कर 12.5% किया गया
इसमें छूट की सीमा 1 लाख से बढ़ा कर 1.25 लाख की गई
लॉन्ग टर्म की अवधि 1 साल से बढ़ा कर 2 साल की गई
F&O ट्रेडर्स को भी झटका
फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (F&O) ट्रेडर्स को बड़ा झटका देते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने STT रेट को बढ़ाकर 0.02% करने की घोषणा की. इक्विटी और इंडेक्स ट्रेडर्स को अपने ट्रेड के लिए दोगुना टैक्स देना होगा.
सिक्योरिटीज में फ्यूचर्स की बिक्री पर दर 0.0125% थी, जिसे बढ़ाकर अब 0.02% कर दी गई है. इससे लागत में 750 रुपये/करोड़ की बढ़ोतरी होगी.
सिक्योरिटीज में ऑप्शन की बिक्री पर दर 0.0625% से बढ़ाकर अब 0.1% कर दी गई है. इससे लागत में 3,750 रुपये/करोड़ की बढ़ोतरी होगी.
STT में की गई बढ़ोतरी, बहुत ज्यादा नहीं है. डेरिवेटिव वॉल्यूम पर बहुत ज्यादा आलोचना हुई है. ये भी क्रिटिसिज्म का ही परिणाम है.आशीष कुमार चौहान, CEO, NSE
बता दें कि किसी भी तरह के कैपिटल यानी पूंजी पर हुए प्रॉफिट पर लगने वाला टैक्स, कैपिटल गेन टैक्स कहलाता है. ये जमीन, मकान, वाहन, पेटेंट, गहने-जेवर जैसी पूंजीगत संपत्तियों पर लगाया जाता है. शेयर भी इसी के अंतर्गत आते हैं.