क्या बैंक में एफडी करवाने की सोच रहे हैं? रुकिए, क्या ये पांच नियम जानते हैं आप...

क्या आप बैंक में सावधि जमा खाता यानी फिक्स्ड डिपॉजिट (FD) अकाउंट खोलने जा रहे हैं? भारतीयों के बीच पॉपुलर इस निवेश विकल्प के बारे में आपको बता दें कि इससे जुड़ कुछ नियम ऐसे भी हैं जो हो सकता है कि आपको न पता हों. आइए जानें....

एफडी के बारे कुछ खास बातें.

क्या आप बैंक में सावधि जमा खाता यानी फिक्स्ड डिपॉजिट (एफडी) अकाउंट खोलने जा रहे हैं? भारतीयों के बीच पॉपुलर इस निवेश विकल्प के बारे में आपको बता दें कि इससे जुड़ कुछ नियम ऐसे भी हैं जो हो सकता है कि आपको न पता हों. ये बहुत महत्वपूर्ण हैं, खास तौर से ऐसी स्थिति में जब आप ब्याज से हुई आय की कर संबंधी नियम जानना चाहते हों. आइए जानें :

1- यदि आपकी एफडी पर किसी एक वित्तीय वर्ष में कमाया गया ब्याज 10 हजार रुपए से ज्यादा है तो उस पर 10 फीसदी के हिसाब से टीडीएस कटेगा. उस पर भी यदि आपने पैन (परमानेंट अकाउंट नंबर) प्रोवाइड नहीं किया हुआ है, तो 20 फीसदी की दर से टैक्स काटा जा सकता है.

---- --- ---- ----
क्या होगा अगर 31 जुलाई तक इनकम टैक्स रिटर्न फाइल नहीं किया तो...?
---- --- ---- ----

2-लेकिन, यहां आपको बता दें कि यदि किसी एक बैंक की एक या उससे अधिक शाखाओं में खोले गए रिकरिंग डिपॉजिट (आवर्ती जमा खाता) या एफडी से होने वाली सकल आय किसी एक वित्तीय वर्ष में 10 हजार के पार है तो उस पर टीडीएस कटेगा.

---- --- ---- ----
10 बातें : जल्दी करें, इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करें, यह है सबसे आसान तरीका
---- --- ---- ----

3- यदि बैंक ने टीडीएस काट लिया हो तो भी आपको अपनी इनकम टैक्स रिटर्न फाइलिंग के दौरान इसका जिक्र करना होगा. यदि बैंक ने टीडीएस नहीं काटा है तो भी आईटीआर फाइल करते समय आपको इसे अपनी इनकम में शामिल मानते हुए इसका जिक्र करना होगा. ब्याज से आय (इंट्रेस्ट इनकम) पर टैक्स इस बात से निर्धारित होता है कि आप किस टैक्स स्लैब में आते हैं. वैसे तो बैंक 10 फीसदी की दर से टीडीएस काटते हैं लेकिन यदि आप ऊंचे टैक्स ब्रैकेट में आते हैं तो आपको रिटर्न फाइल करते समय अधिक टैक्स देना होगा.

---- --- ---- ----
सैलरी में से ज्यादा टीडीएस कट गया? परेशान न हों, ये 10 पॉइंट आपको करेंगे टेंशन फ्री
---- --- ---- ----

4- यदि आपकी कर योग्य आय कर छूट के दायरे में आती है यानी सालाना 2.5 लाख रुपये से कम है और आपका वर्ष विशेष के लिए इनकम टैक्स शून्य बनता है तो आप ब्याज से हुई आय पर से टीडीएस बचा सकते हैं. लेकिन इसके लिए समय से फॉर्म 15G या 15H जमा करवाना होगा. मगर अगर आप किसी कारण से ये फॉर्म सब्मिट नहीं करवा पाएंगे तो आपको इस रकम की वापसी के लिए रिफंड भरना होगा.

5- राहत की बात यह है कि बचत खाते (सेविंग अकाउंट) के मामले में हुई इंट्रेस्ट इनकम पर कोई टीडीएस नहीं कटता. हालांकि एक साल में यदि ब्याज से होने वाली कुल आय 10 हजार रुपये से अधिक बन जाती है तो इस पर टैक्स देना होगा.

लेखक NDTVProfit.com
जरूर पढ़ें
1 सिंगापुर को मिला नया प्रधानमंत्री, FIIs की बिकवाली आज भी रही जारी, अमेरिका में महंगाई घटी, मैनकाइंड फार्मा के बेहतरीन नतीजे
2 मॉनसून के स्वागत की कर लीजिए तैयारी, 31 मई को केरल में होगी पहली बारिश!
3 शहरों में बेरोजगारी दर बढ़कर 6.7% हुई, पुरुषों में बेरोजगारी बढ़ी, महिलाओं की हालात सुधरी