देश में प्याज की कीमतों पर नियंत्रण रखने के लिए सरकार ने एक्सपोर्ट पर 40% की ड्यूटी लगा दी है, अभी तक प्याज पर कोई एक्सपोर्ट ड्यूटी नहीं थी. सरकार का मकसद है कि इस कदम से देश में प्याज की पर्याप्त उपलब्धता बनी रहे जिससे कीमतें भी काबू में रहें.
31 दिसंबर तक लागू रहेंगी ड्यूटी
प्याज पर एक्सपोर्ट ड्यूटी तत्काल प्रभाव से लागू हो चुकी है और ये 31 दिसंबर, 2023 तक लागू रहेगी. वित्त मंत्रालय की ओर से इसे लेकर एक नोटिफिकेशन जारी किया गया है.
इसके पहले इसी महीने सरकार ने कीमतों को काबू करने के लिए अपने बफर स्टॉक से प्याज को रिलीज करने का ऐलान किया था, जब तक कि अक्टूबर में प्याज की नई खेप नहीं आ जाती.
सरकार प्याज की कीमतों को बाजार में जारी करने के लिए कई विकल्प अपना रही है, जिसमें प्याज का ई-ऑक्शन, ई-कॉमर्स के साथ-साथ राज्यों के साथ मिलकर कंज्यूमर को-ऑपरेटिव रिटेल आउटलेट्स के जरिए भी प्याज को मार्केट में उतारा जा रहा है.
सरकार ने वर्तमान में किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए प्राइस स्टैबलाइजेशन फंड (PSF) के तहत 3 लाख टन प्याज बनाए रखा है, अगर कम सप्लाई वाले मौसम के दौरान दरें काफी बढ़ जाती हैं. सरकारी आंकड़ों के अनुसार, प्याज की कीमतें थोड़ी बढ़नी शुरू हो गई हैं क्योंकि 10 अगस्त को प्याज ऑल इंडिया रिटेल प्राइस 27.90 रुपये प्रति किलोग्राम थी, जो कि एक साल पहले की अवधि में 2 रुपये प्रति किलोग्राम से थोड़ी ज्यादा थी.
कल से टमाटर 40 रुपये किलो के भाव पर मिलेगा
प्याज के अलावा सरकार पहले से ही सस्ता टमाटर बेच रही है. 20 अगस्त यानी रविवार से सरकार सहकारी समितियों NCCF और NAFED के जरिए 40 रुपये/किलो के भाव पर बेचेगी.
पिछले महीने से भारतीय राष्ट्रीय सहकारी उपभोक्ता महासंघ (NCCF) और भारतीय राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन महासंघ (NAFED) टमाटर के मूल्य की बढ़ोतरी को रोकने के लिए उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय की ओर से रियायती दर पर टमाटर बेच रहे हैं.